Sunday 16 August 2020

"रूठे ख्वाब मना लूँगा"

 

"रूठे ख्वाब मना लूँगा"

जब भी मन करे, तुम बता देना...
मैं लिख दूंगा, वही जो हो, तुम्हे पढ़ना,
तुम चाहोगी गर, दिन को मैं रात लिखूं,
मैं दिन में, तारो की बरसात करा दूंगा,
तुम चाहो, रातें डूबी हो रोशनी से,
मैं चाँद को, सूरज का टुकड़ा बना दूंगा
जब भी मन करे, तुम बता देना
मैं लिख दूंगा, वही जो हो, तुम्हे पढ़ना.....

तुम चाहोगी, दिल की बातें साफ मैं कहूँ,
मैं दिल को, छूने वाला शेर सुना दूंगा,
जो पूछोगी, मैं तुमसे कितना प्यार करूँ?
मैं लफ्ज़, लहु से लिखकर ग़ज़ल बना दूंगा,
जब भी मन करे, तुम बता देना
मैं लिख दूंगा, वही जो हो, तुम्हे पढ़ना.....

तुम जब जब, रूठोगी मेरी बातों से,
मैं अपनी कविताओं से, तुम्हे मना लूंगा,
तुम घिर जाओगी, जब बिखरी बिखरी यादों में,
मैं सुना कहानी, तुमको पास बुला लूंगा,
तुम सोचोगी, जो टूटे टूटे ख्वाबों को,
तुम्हे गले लगा के, रूठे ख्वाब मना लूंगा,
जब भी मन करे, तुम बता देना,
मैं लिख दूंगा, वही जो हो, तुम्हे पढ़ना.....

🙏🙏🙏✍️गौरव


Saturday 8 August 2020

MURDER IN HOSTEL

 

MURDER IN HOSTEL


जुलाई का महीना है,मानसून अपने शबाब पर है,वही कालेज सेशन भी शुरू हो गए है। दिल्ली के ऐसे ही एक नामचीन कालेज के कैंपस में...

"wow यार आज तो बहुत hot लग रही है।" शालिनी ने मस्का मारते हुए  टीना से बोला

टीना अमीर बाप की इकलौती बेटी,अपनी आधुनिक lifestyle के चलते कई बार माँ बाप की डांट खा चुकी थी, इसलिए रोज़ रोज़ के तानो से ऊबकर उसने कालेज होस्टल में ही शिफ्ट कर लिया था।  पैसों की कमी नही थी,और दोस्तो पर खर्चा करके दिखावे में भी कोई कमी नही छोड़ती थी। पैसों के घमंड में वो बाकी सबको अपने पैर की जूती समझती थी। शालिनी जैसी 4- 5 लड़कियां जो उसके पैसों से अपनी जरूरत पूरी किया करती थी,बदले में टीना की चापलूसी और तारीफ करने में कोई कसर नही छोड़ती थी।

टीना- "वो तो मैं बचपन से हूं, कुछ नया बोल...."

शैली- "वो देख new student... चल रैग करते है।"

टीना- सामने से आती सलवार सूट पहने लड़की को देखकर, "जाने दे आज मूड नही है। चल केंटीन चलते है।"

टीना new student को attitude दिखाती हुई,उसके बगल से निकल जाती है।

शालिनी रुककर -"नाम क्या है तेरा??"

"जी पूजा"

शालिनी- "अगली बार कालेज ढंग के कपड़े पहन के आना । कहकर केंटीन चली जाती है।"

पूजा दोनों को घूर कर जाते हुए देखती है।

पूजा को मेरिट में आने के कारण उस कालेज में admission मिलता है,और गर्ल्स हॉस्टल में रूम भी वो ले लेती है।

केंटीन में

रोहन- "ले भाई तेरा माल आ गया। आज तो फिट कर ले इसको।" रोहन सामने की टेबल पर बैठी टीना को देखकर विक्रम को उकसाते हुए बोला

विक्रम- "हा भाई, आज अगर ये मान जाए तो पार्टी हो जाएगी। चल मैं try मारके आया।"

विक्रम- "hii टीना.."

टीना- "क्या चाहिए??"

विक्रम- "चाहिए तो बहुत कुछ, पर अभी के लिए बस तुम्हारी हाँ..."

टीना- "किस चीज़ की हाँ??"

विक्रम- "मुझे तुमसे प्यार हो गया है जानेमन,अब तुम भी अपनी तरफ से हाँ कर दो, फिर दोनों मिलके ऐश करेंगे।"

टीना- "ओह्ह!!" खड़े होकर विक्रम को जोरदार थप्पड़ से झन्ना देती है।
"मेरी हाँ मैने तुम्हारे गाल पर लिख दी है,जब मन करे आईने में देखकर पढ़ लेना। now get lost!!!"

थप्पड़ की आवाज पूरी कैंटीन में गूंजती है, वहां बैठे सभी student विक्रम को देखकर हंसने लगते है।

विक्रम अपनी टेबल पर आकर बैठता है।

विक्रम- "इस साली को मैं छोडूंगा नही,विक्रम पर हाथ उठाती है,विक्रम पे, इसका अंजाम इसे भुगतना पड़ेगा।" गुस्से में रोहन को बोला

रोहन- " chill मार यार, कुछ सोचते है इसका।अभी चल यहां से, सब हमे देख रहे है।"

राहुल- "hii टीना...hii शालिनी"

"hii राहुल", टीना और शालिनी एक साथ बोल पड़ी और इस कारण तीनों हंसने लगते हैं।

कुछ खा पीकर time paas करके तीनों अपनी अपनी क्लास के लिए चले जाते है।

राहुल, मन ही मन टीना को प्यार करता है,पर कभी कह नही पाया, टीना के गुस्से को आये दिन देखा करता था,इसलिए भी कहने से डरता था। टीना के मन मे राहुल के लिए कुछ नही था बल्कि वो उसे अपने लेवल का भी नही मानती थी।

क्लास खत्म होने के बाद कॉरिडोर में

रोशन- "यार राहुल ये हम लोगो का last year है,तू टीना को अपने दिल की बात कब बताएगा,उसकी शादी की बाद??"

राहुल- "यार बताने को अभी बता दूँ,पर डरता हूं कही विक्रम के जैसे मुझे भी....."(गाल पर हाथ रख लेता है।)

रोशन- "ऐसे डरने से काम नही चलेगा भाई, सबके सामने नही बोल पा रहा तो अकेले में बोल दे।"

राहुल- "वो कब अकेली होती है यार?? उसकी दुमछललिया हमेशा तो उसकी सेवा में लगी रहती है।"

रोशन- "रूम में तो अकेली ही रहती होगी ना।"

राहुल- "तेरा मतलब गर्ल्स हॉस्टल रूम में..... ना भाई ना ये मुझसे नही होगा।"

रोशन- "ये इश्क़ नही आसां, बस इतना समझ लीजे
इक आग का दरिया है,और डूब के जाना है।। अबे मर्द बन और आज रात जाकर प्रपोज़ कर दे,फिर जो होगा सो होगा।"

राहुल- "बात तेरी सही है,आखिर कभी तो बताना ही है। ठीक है आज रात जाता हूँ।" राहुल निश्चय करके बोला

गर्ल्स हॉस्टल वैसे तो सुरक्षित था मगर कालेज के लड़के वो भी प्यार में पड़े हुए हो, तो उन्हें कोई दीवार कहाँ रोक पाती है अपनी प्रेमिका से मिलने से। गर्ल्स हॉस्टल की दीवारों से सटे पेड़ों की शाखाओं से होते हुए 1st फ्लोर पर पहुँचा जा सकता था, बाकी पाइप भी थे जिनसे उतरने में आसानी हो जाती थी। चूंकि लड़कियों को भी अपने प्रेमियों से मिलना होता था,इसलिए होस्टल के cctv भी अक्सर खराब कर दिए जाते थे।

टीना का रूम 1st फ्लोर पर था,और आजू बाजू में टीना ने अपनी गैंग की लड़कियों को रूम दिलवा दिया था।
वार्डन के आदेश पर सभी गर्ल्स को 11 बजे रूम लाइट बंद करना पड़ती थी,जिससे ज्यादातर लड़कियां 11 बजे सो भी जाती थी।

रात 1.30 बजे

बिजली चमक रही है,और बादलों की गड़गड़ाहट के साथ मूसलाधार बारिश हो रही है।

पूजा, वाशरूम से निकलकर जैसे ही गैलरी में पहुचती है,

"पूजा!! तू यहां क्या कर रही है?" शालिनी ने पूछा जो वाशरूम जाने के लिए उठकर गैलरी में आई थी।

इससे पहले पूजा कुछ बोल पाती.... पूजा किसी को टीना के रूम से भागते देखती है।
पूजा,शालिनी को उसके पीछे की तरफ उंगली से इशारा करके बोली-"वो देखो कोई भाग रहा है,टीना के रूम से निकलकर कोई भाग रहा है। "
शालिनी पलटकर देखती है,मगर उसे वहां कोई नही दिखता, दोनों  भागकर टीना के रूम में पहुँचती है,और साथ मे उनकी चीख निकल जाती है, "खूऊऊऊऊन...!!!!" टीना की लाश  रूम के बिस्तर पर पड़ी है।

दोनों की चीख सुनकर बाकी की लड़कियां भी टीना के रूम के आसपास जमा हो जाती है,और वार्डन भी।
पूजा- "वो वहां से भागा है..." पूजा दीवार से सटे एक पेड़ की तरफ उंगली दिखाते हुए चिल्लाई....

वार्डन गार्ड्स को चेक करने का आदेश देती है। 100 नंबर पर फोन करने के बाद कालेज मैनेजमेंट को भी सूचना दी जाती है।

इंस्पेक्टर शिवानी घटना स्थल पर अपने साथी सबइंस्पेक्टर और  2 कांस्टेबल और एम्बुलेंस के साथ पहुंचती है।

इंस्पेक्टर शिवानी टीना की लाश और रूम की जांच पड़ताल  करने के बाद, वार्डन से...

"लाश को सबसे पहले किसने देखा??"

वार्डन- "शालिनी और पूजा ने, शालिनी, टीना की BEST FRIEND है और पूजा आज ही आई है, ऊपर वाले फ्लोर पर रूम है उसका, उन दोनों की चीख सुनकर ही सब यहां आए थे।"  वार्डन ने सारा घटनाक्रम शिवानी को बताया।

शिवानी, सबइंस्पेक्टर को गार्ड्स से पूछताछ करने भेजती हैं।

शिवानी, शालिनी से

"क्या देखा तुमने??"

"वो मैम, मैं तो वाशरूम USE करने के लिए रूम से बाहर आई तो मैंने पूजा को गैलरी में देखा।" शालिनी ने जो कुछ पूजा और उसके बीच हुआ था सब बता दिया।

शिवानी, पूजा से मुखातिब होती है...

"क्या नाम है तुम्हारा??"

"पूजा"

शिवानी- "तुमने सबसे पहले लाश को देखा था,और क्या क्या देखा पूरी बात बताओ।"

पूजा- "जी मैं वाशरूम से बाहर निकल कर गैलरी में आई तो शालिनी दी मिली,हम आपस में बात कर रहे थे, तभी देखा कोई टीना के रूम से निकलकर उस पेड़ की तरफ भाग रहा था। मैं और दी दौड़कर टीना के रूम में आई और......" बोलते बोलते पूजा रोने लगती है।

शिवानी- "जो भाग रहा था उसको पहचान सकती हो,चेहरा देखा क्या उसका ??"

पूजा- "नही!!! चेहरा तो नही देखा।"

शिवानी- "ठीक है!!"

शिवानी, पूजा के बताए पेड़ को पास जाकर देखती है, फिर लौट कर फर्श को देखती हुई टीना के कमरे का निरीक्षण एक बार फिर करती है। कमरे से बाहर आकर पूजा से

शिवानी- "और कुछ भी है जो तुम हमे बताना चाहती हो?"

पूजा- "जी वो,आज केंटीन में विक्रम ने टीना को प्रपोज किया था और टीना ने सबके सामने उसे जोरसे थप्पड़ भी मारा था।"

शिवानी-"ह्म्म्म!! और??"

पूजा- "और वो राहुल!! मेडम आज कालेज कॉरिडोर में राहुल और रोशन नाम के लड़के रात में टीना के रूम में आने का प्लान बना रहे थे।"

जिस वक्त राहुल और रोशन आपस के बात कर रहे थे,तब पूजा भी वही खड़ी,उनकी बात सुन रही थी।

सबइंस्पेक्टर आकर शिवानी के कानों में फुसफुसाता है।

शिवानी- "ह्म्म्म!! तो तुमको लगता है,विक्रम या राहुल ने आकर टीना का कत्ल किया है??"

पूजा- "जी मेडम हो सकता है।"

शिवानी के हाथ का जोरदार थप्पड़ पूजा के गाल पर छप जाता है।

"झूठ बोलना बंद कर पूजा, सच बोल तूने ही मारा है ना टीना को।"

सभी चौंक जाते है इंसपेक्टर शिवानी की बात सुनकर

वार्डन- "मेडम ये क्या बोल रही हो आप? भला पूजा कैसे मारेगी और क्यों ?"

शिवानी- "वो तो यही बताएगी। ये बारिश देख रही हो आप, अगर बाहर से कोई आएगा, तो कमरे के फर्श से लेकर टीना की body तक कुछ ना कुछ तो गीला होता, ये बोलती है पेड़ से चढ़कर कोई भागा था, तो पेड़ के रास्ते आया भी होगा, मगर कही भी फर्श पर मिट्टी का नामोनिशान नही है।और पेड़ के आसपास किसी के आने जाने के निशान नही है और ना ही गार्ड्स ने किसी को भी आते जाते देखा है।पूजा झूठ बोल रही है।"

वार्डन- "ये भी तो हो सकता है मेडम किसी और ने टीना को मारा हो,और वापस अपने कमरे में जाकर सो गया हो।"

शिवानी- "हो सकता है,मगर वाशरूम तो हर फ्लोर पर है, फिर पूजा यहां क्यों आई?" बताओ पूजा अपना मुंह खोलो, वरना थाने में मुंह खुलवाने के बहुत तरीके है मेरे पास,जो तुम्हे पसंद नही आएंगे।

पूजा के पास इस सवाल का कोई जवाब नही था,अपने आप को फंसा हुआ देखकर पूजा ने सच बताने में ही भलाई समझी।

"हाँ, मैंने मारा है टीना को, मेरा बस चलता तो उसे कालेज में ही मार देती जब कालेज में उसे देखा था, पर उसकी दुमछललिया उसको बचा लेती। फिर मैंने राहुल की बाते सुनी और लगा यही सही मौका है, में करीब रात 1 बजे टीना को दरवाजे पे दस्तक दी टीना मुझे पहले से जानती थी तो उसने दरवाजा खोलकर मुझे अंदर बुला लिया, वो जैसे ही मुड़ी मैंने पीछे से उसका मुंह दबाकर चाकू से पीठ पर कई वार किए,टीना लडखडाती हुई बेड पर जा गिरी,इस तरह मैंने टीना को मार दिया और फिर दरवाजा अटकाकर चाकू छुपाने और अपने आप को साफ करने वाशरूम चली गई,फिर राहुल का इंतजार गैलरी में कर रही थी,मगर इस बारिश की वजह से शायद वो नही आ पाया।"

शिवानी-मारा क्यों?

पूजा- "बाबा केलिए।। मेरे बाबा टीना के पिताजी के ऑफिस में मैनेजर थे। टीना के पिताजी मेरे बाबा से अपनी पारिवारिक जिंदगी की बाते भी शेयर कर लिया करते थे,और वो टीना को लेकर परेशान थे। एक दिन टीना ऑफिस अपने पापा से पैसे लेने ऑफिस गई थी, वहां मेरे बाबा ने बड़े बुजुर्ग की तरह टीना को अपनी ज़िंदगी के बारे सोचने के लिए समझाया। बस इतनी सी बात का बुरा मानकर टीना ने मेरे बाबा पर गबन का झूठा इल्ज़ाम लगा दिया, ऑफिस के वो लोग जो मेरे बाबा से जलते थे उनको पैसे के बल पर ख़रीदकर टीना ने पुलिस कोर्ट और अपने पापा सबको विश्वास दिलाकर मेरे बाबा को मुज़रिम बना दिया। बाबा के आत्मसम्मान को ठेस पहुंची थी,इसलिए एक दिन उन्होंने जेल में ही फांसी लगा ली। तबसे मेरी ज़िंदगी का एक ही मक़सद था टीना की मौत। आज मेरा मकसद पूरा हुआ इंस्पेक्टर, अब मुझे किसी का डर नही....."

इतना कहकर पूजा छत की ओर भागती है, शिवानी उसका पीछा करती है,मगर जब तक पूजा को पकड़ पाती, पूजा छत से नीचे कूद जाती है,उसके सिर से रक्त की धार बहने लगती है,शिवानी के नीचे पहुँचने से पहले ही पूजा की मौत हो जाती है।

शिवानी, सबइंस्पेक्टर को दोनों लाशों का पोस्टमार्टम करवाकर परिवार  वालों को सौपने का निर्देश देकर चली जाती है।

समाप्त

🙏🙏🙏✍️ गौरव